
बिहार शरीफ में स्मार्ट सिटी प्रोजेक्ट के तहत बने 20 लाख रुपये के क्लॉक टॉवर ने विवादों को जन्म दे दिया है। यह टॉवर मुख्यमंत्री की प्रगति यात्रा के मौके पर जल्दबाजी में उद्घाटित किया गया था, लेकिन महज 24 घंटे के भीतर ही यह बंद हो गया। स्थानीय प्रशासन के अनुसार, चोरों ने टॉवर के महत्वपूर्ण तांबे के तार निकाल लिए, जिससे इसकी कार्यप्रणाली प्रभावित हुई।
इस घटना ने सोशल मीडिया पर तूफान ला दिया है, जहां नेटिजन्स इस परियोजना की गुणवत्ता और डिजाइन पर सवाल उठा रहे हैं। कई यूजर्स ने इसकी “साधारण सी दिखने वाली संरचना” और “खराब फिनिशिंग” की तस्वीरें शेयर करते हुए प्रशासन की जिम्मेदारी तलब की है। एक यूजर ने लिखा, “20 लाख में बना यह टॉवर स्मार्ट सिटी के सपनों को मजाक बना देता है।”
प्रशासन ने इस मामले में जांच का आश्वासन दिया है और चोरों की तलाश जारी है। हालांकि, यह घटना सार्वजनिक परियोजनाओं में निगरानी और गुणवत्ता नियंत्रण की कमी को उजागर करती है। विशेषज्ञों का मानना है कि ऐसी घटनाएं न केवल सरकारी धन की बर्बादी हैं, बल्कि आम जनता के विश्वास को भी ठेस पहुंचाती हैं।